हे ऐ भौजी, रूसलि किए छी ?
(गीत)
होली मे होइतहि अछि एहिना, रंग अबीर मे, डूबल ई दुनिञा
।
मानव केर तऽ
बात कहू की, नाचय धरती बनि नवकनिञा ।।
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हे अए (ऐ) भौजी, रूसलि किए
छी ?
गाल फुला, चुप बैसलि
किए छी ?
घऽर मे बैसलि, किए
आँखि लाल करै छी
?
दू बुन्न पड़िए जँ गेल, तऽ
किए बबाल करै छी ?
होली मे होइतहि अछि एहिना,
रंग अबीर मे, डूबल ई दुनिञा
।
मानव केर तऽ
बात कहू की,
नाचय धरती बनि नवकनिञा ।
किए कोप - भवन मे,
अहाँ कपार धुनै छी ?
दू बुन्न पड़िए जँ गेल, तऽ
किए बबाल करै छी ?
खेलथि ब्रज मे गोपी केर
संग,
कृष्णजी रंग
अबीर ।
मिथिला मे फगुआ अछि नामी,
दियऽर भाउजि
केर बीच ।
किए आइ
अहाँ, हड़ताल कएने
छी ?
दू बुन्न पड़िए जँ गेल, तऽ
किए बबाल करै छी ?
रूसू जुनि, हम करै छी भौजी,
हाथ जोड़ि
नेहोरा ।
एक बरख केर बादहि आओत,
पाबनि फेर
दोबारा ।
किए स्नेहक
हाथ अपन, कात
कएने छी ?
दू बुन्न पड़िए जँ गेल, तऽ
किए बबाल करै छी ?
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